गोमेद :
गोमेद राहू ग्रह का प्रतिनिधि रत्न है। गोमेद धारण करने से राहू ग्रह के अनिष्ट प्रभाव शांत हो जाते है। इसके धारण करने से निर्णय लेने की क्षमता बढ़ जाती है। शत्रु पक्ष कमजोर हो जाता है। कोर्ट कचहरी के मामलों में विजय प्राप्त हो जाती है, इस रत्न को पहनने के लिये ज्यादा राशि विचार नहीं किया जाता है।
धारण विधि –
गोमेद रत्न शनिवार को शनि की होरा में, स्वाति, शतभिषा, आर्द्रा अथवा रवि पुष्य योग में पंचधातु अथवा लोहे की अंगूठी में जड़वाकर तथा राहू के बीज मंत्र द्वारा अंगूठी को अभिमंत्रित करके दाएं हाथ की मध्यमा अंगुली में धारण करना चाहिए
राहू का बीज मंत्र –
ॐ भ्रां भ्रीं भ्रौं सः राहवे नमः
नियम एवं शर्तें -
1- गोमेद लैब द्वारा प्रमाणित रहेगा.
2- पेंडल शुद्ध चाँदी में बना हुआ है.
3- सम्पूर्ण भारत में डिलीवरी फ्री रहेगी.
4- डिलीवरी 5-7 कार्य दिवसों में होगी.